जब 1981 में संजय गाँधी ने Maruti की स्थापना की थी तब शायद किसी ने कल्पना भी नहीं की होगी की एक दिन ये कम्पनी भारत की सबसे बड़ी कार निर्माता बनेगी. खैर Maruti इतनी कामयाब हुई की आज भी हमारे दिमाग में ‘की करां पापा, पेट्रोल खत्म ही नहीं होंदा’ बिलकुल ताज़ा है. Maruti की हर एक Car आज भी कार प्रेमियों के यादों में जीवंत है. लेकिन, आज कार बाज़ार इतनी सारी कंपनियों से अटा पड़ा है की कुछ युवा कार प्रेमी उन पुराने मॉडल्स को भूल चुके हैं, जो आजकल सड़कों पे दिखाई नहीं देती. ये बात अलग है की आज भी कार प्रेमी उन गाड़ियों की रग-रग से वाकिफ हैं. पेश हैं ऐसी ही कुछ गाड़ियाँ जो याद और इतिहास के बीच कैद हैं.
Maruti 1000
जहाँ Maruti 800 कम्पनी का पहला हैचबैक था, वहीँ Maruti 1000 पहली सेडान थी. अंतर्राष्ट्रीय बाज़ार में ये कल्टस के नाम से उतारी गयी थी. 1990 में जब ये 970 cc कार लॉन्च की गयी थी, इसे एक प्रीमियम कार माना जाता था. और चूंकि इस गाड़ी का वजन सिर्फ 825 किलो था, तो बेहतरीन हैंडलिंग और पॉवर की वजह से इसे चलाना एक रोमांच पैदा करता था.
Maruti Omni High Roof
भले ही बॉलीवुड पिक्चरों में Omni को सिर्फ अपहरण के लिए इस्तेमाल किया गया हो. Omni भारत में Maruti के सफलतम मॉडल्स में से एक है. इसे देखते हुए, Maruti ने ज्यादा जगह देने के लिए, ओमनी का हाई-रूफ़ संस्करण बाज़ार में उतारा. लेकिन जनता को ये एक्सपेरिमेंट कुछ ख़ास पसंद नहीं आया और उसने कभी इस मॉडल की ओर ज्यादा ध्यान नहीं दिया.
Maruti Zen Classic
जहाँ Zen का पहला मॉडल जनता के द्वारा काफी ज्यादा पसंद किया गया था, और इसके प्रशंसक अभी भी इसे एक कल्ट कार का दर्ज़ा देते हैं, Zen Classic भारत के बाज़ार में अपनी छाप कभी नहीं छोड़ पायी. ब्रिटिश गाड़ी मिनी कूपर से समानताएं रखने वाली इस गाड़ी को Maruti ने एक तरह का रेट्रो लुक देने की कोशिश की थी. गाड़ी की बनावट पुराने वाले Zen जैसी ही थी लेकिन फ्रंट ग्रिल तीन हिस्सों में बंटा था और हेडलैंप गोल थे. इसका बम्पर भी स्टील से बना था, जो की तब की जनता को कुछ ख़ास रास नहीं आया.
Grand Vitara
अभी Vitara Brezza के चलते ‘Vitara’ नाम बाज़ार में काफी आम हो गया है. हालांकि Grand Vitara भारत में दो बार लॉन्च की गयी लेकिन ये ज्यादा चली नहीं. ये एक Maruti की तरफ से एक SUV थी और इसमें सिर्फ 2.4 लीटर पेट्रोल इंजन था. और तो और ऊंचे दाम और पेट्रोल इंजन के चलते इसके ज्यादा खरीददार भी नहीं थे. खैर, आगे चल कर इसका नाम भी Maruti के भूली बिसरी गाड़ियों में जुड़ गया.
Baleno Altura
भारत कभी भी Station Wagons का बाज़ार नहीं रहा है. ये बात या तो कर निर्माताओं को समझने में काफी समय लगा या फिर वो कुछ ज्यादा ही आशावान हैं. ऐसी ही आशा की किरण का एक नमूना था Altura, जो Baleno sedan बे आधारित था. इस सेडान के एस्टेट संस्करण में 1.6 लीटर पेट्रोल इंजन लगा था, लेकिन इसके भी ज्यादा खरीददार थे नहीं.
Versa
Maruti की ये MUV उन ग्राहकों पे केन्द्रित थी जिन्हें Omni के बाद एक अपग्रेड चाहिए था. जहाँ अंतर्राष्ट्रीय बाज़ार में इसे सुज़ुकी कैरी के नाम से उतारा गया था, वहां भारत में इसे अमिताभ बच्चन जैसे बड़े फ़िल्मी सितारे ने प्रमोट किया था. लेकिन, ढाक के तीन पात की तरह ऊंची कीमत के चलते ये भी भारतीय बाज़ार में चल नहीं पाई.
Zen Carbon and Steel
Maruti ने अब तक सिर्फ दो बार ही दो दरवाज़ों वाला hatchback बाज़ार में उतारे हैं, और वो गाड़ियाँ थीं Zen की स्पेशल एडिशन कार्बन और स्टील. ये शौकीनों के लिए एक सपने के पूरे होने जैसा था, लेकिन इनका उत्पादन काफी कम संख्या में हुआ था. Maruti ने दोनों कारों के सिर्फ 50-50 यूनिट्स बनाये थे, और ये पल भर में बिक गयीं. इसी कारण से बहुत कम लोगों को इन दो स्पोर्टी गाड़ियों के बारे में याद है.
A-Star
A-Star एक और ऐसी कार थी हो भारत में गलत समय पे लॉन्च की गयी थी. इस बड़ी हेडलैंप वाले हैचबैक को चलाना एक अच्छा एहसास देता था, लेकिन बात फिर पैसे पे आके बिगड़ जाती है, इसके ऊँचे दामों ने उपभोक्ताओं को इससे दूर ही रखा. इस कार ने अंतर्राष्ट्रीय बाज़ार में काफी अच्छा कारोबार किया था, लेकिन भारत में इसे भुला दिया गया.
Zen Dieseel
एक समय था जब किफ़ायत पसंद भारतीय बाज़ार में पेट्रोल और डीजल के दामों में बड़े अंतर के चलते डीजल इंजन वाली कारों की ख्याति आसमान छू रही थी. और Maruti ने अपनी सफल कार Zen का डीजल अवतार 1996 में भारत में उतारा. इस गाड़ी में फ़्रांसिसी कार निर्माता Peugeot से लिया गया 1.5 लीटर इंजन लगा था जो की 58 बीएचपी और 78 एनएम का टॉर्क उत्पन्न करता था. लेकिन कार ज्यादा ग्राहकों को आकर्षित नहीं कर पायी और एक दुर्लभ गाड़ी है.
Kizashi
Kizashi को भारत की सबसे किफायती CBU के रूप में जाना जाता है. लेकिन ऊंची कीमत और पेट्रोल इंजन के साथ सुजुकी के लोगो ने इस कार को ग्राहकों के बीच कुछ ख़ास प्रसिद्ध नहीं किया. आज भी Kizashi सड़कों पे आधुनिक कारों जैसी दिखती है और इसका डिजाईन काफी फ्यूचरिस्टिक लगता है. दुःख की बात की कार ने भारतीय बाज़ार में ज्यादा ख्याति नहीं पायी और आसानी से भुला दी गयी.